“राम जपु, राम जपु, राम जपु बावरे। घोर भव नीर-निधि, नाम निज नावरे।।” इन पंक्तियों में निम्न में से कौन-सा रस है -

  • 1

    शांत रस

  • 2

    रौद्र रस

  • 3

    भक्ति रस

  • 4

    श्रृंगार रस

Answer:- 3
Explanation:-

प्रस्तुत पंक्तियों में भक्ति रस निहित है। जहाँ पर कविता में काव्य के माध्यम से भक्ति आदि भावों का अनुभाव होता है, वहाँ भक्ति रस होता है। रौद्र रस - कहि न सकत रघुवीर डर, लगे वचन जनु बान।                नाइ राम-पद-कमल-जुग, बोले गिरा प्रसाद।।” - तुलसीदास

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