शरारत
आपरधिक विश्वाभंग
धोखाधड़ी
जबरन वसूली
भारतीय दण्ड संहिता की धारा 415 - 420 धोखाधड़ी अथवा छल से सम्बंधित है। धारा 415 में धोखाधड़ी की परिभाषा दी गई है, जिसके आवश्यक तत्व हैं - किसी व्यक्ति को धोखा दिया गया हो, कपटपूर्वक या बेईमानी से छल किए गए व्यक्ति को उत्प्रेरित करना। धारा 416 - प्रतिरूपण द्वारा छल के विषय में बताया गया है। धारा 417 - छल के लिए दण्ड निर्धारित किया गया है।
Post your Comments