कृष्णबिहारी मिश्र
श्यामबिहारी मिश्र
गणेशबिहारी मिश्र
शुकदेव बिहारी मिश्र
श्याम बिराही मिश्र, गणेश बिहारी मिश्र, शुकदेव बिहारी मिश्र तीनो भाई थे जो कि मिश्र बन्धु के नाम से जाने जाते है। 'मिश्रबन्धु विनोद', 'हिन्दी नवरत्न', 'नेत्रोन्मीलन' इत्यादि इनकी रचनाएँ है। कृष्ण बिहारी मिश्र इनमें सम्मिलित नहीं है। 'देव और बिहारी' इनकी आलोचना कृति है।
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