पूर्व में बंगाली एवं उड़िया
गोरखा, सिक्ख एवं पंजाबी उत्तर प्रांत से
मद्रास प्रेसिडेंसी एवं मराठा
उत्तर प्रदेश एवं बिहार के ब्राम्हण
1857 ई. में विद्रोह के समाप्त होने के बाद ब्रिटिश संसद ने एक कानून पारित कर ईस्ट इंडिया कंपनी के अस्तित्व को समाप्त कर दिया और अब भारत पर शासन का पूरा अधिकार महारानी विक्टोरिया के हाथों में आ गया। इसके बाद ब्रिटिश सेना में भर्ती होने लगा जिसमें गोरखा, सिक्ख एवं पंजाबी उत्तर प्रांत से ज्यादा सिपाही को भर्ती किया गया।
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