भारत शासन अधिनियम, 1935
भारत शासन अधिनियम, 1919
भारत परिषद अधिनियम, 1909
भारत परिषद अधिनियम, 1892
'द्वैध शासन' का सिद्धान्त सबसे पहले लियोनल कर्टिस नामक अंग्रेज ने अपनी पुस्तक "डायर्की" में प्रतिपादित किया था। 1919 के भारत शासन अधिनियम द्वारा प्रांतों में द्वैध शासन की शुरुआत की गयी। बंगाल में द्वैध शासक का जनक रॉबर्ट क्लाइव था। 1919 के भारत शासन अधिनियम द्वारा ही केन्द्र और राज्यों के मध्य विषयों का बटंवारा होने लगा। केन्द्रीय सरकार के विषय - प्रतिरक्षा, यातायात, विदेश नीति, सीमा शुल्क, मुद्रा, सार्वजनिक ऋण इत्यादि प्रांतीय सरकार के विषय - स्वशासन सार्वजनिक, स्वास्थ्य, सफाई और शिक्षा, पुलिस, जेल तथा सहकारिता आदि । केंद्र में द्वैध शासन प्रणाली की शुरुआत भारत सरकार अधिनियम 1935 के द्वारा प्रारम्भ हुई।
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