पाठों की संख्या सीमित होना
विधागत विविधता होना
सभी व्याकरणिक तत्वों का समावेश
प्रसिद्ध लेखकों की रचनाएँ
कक्षा 8 के लिए पाठ्य-पुस्तक का निर्माण करते समय विधागत विविधता होना महत्वपूर्ण है, क्योंकि इस आयु के विद्यार्थियों के लिए विभिन्न विधाओं की विविधता होने से उनकी जानकारी बढ़ेगी| साथ ही वे भाषा के रचनात्मक पहलुओं को भी भली-भाँती समझ सकेंगे |
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