राजराज
विजयालय
राजेन्द्र प्रथम
राजेन्द्र द्वितीय
सन् 850 में विजयालय ने काँची के पल्लवों को पराजित करके चोल साम्राज्य की स्थापना की। वह पहले पलल्वों का ही सामंत था। इसने पाण्ड्यों की शक्ति हीनता का लाभ उठाकर तंजौर पर अधिकार कर लिया और नगकेसरी की उपाधि धारण की। इसने लगभग 21 वर्ष (871 ई.) तक शासन किया तथा निशुम्भसूदनी देवी का मंदिर बनवाया और उरैयूर के स्थान पर तंजौर (तंजावुर) को अपने राज्य की राजधानी बनाया।
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