ट्रांसफॉर्मर का प्रयोग होता है-

  • 1

    फ्यूज के रूप में

  • 2

    धारा को फ्लिटर करने में

  • 3

    वोल्टेज चेंज करने में

  • 4

    धारा को प्रवाहित करने में

Answer:- 3
Explanation:-

ट्रांसफॉर्मर अन्योन्य प्रेरण के सिद्धांत पर कार्य करने वाली एक ऐसी युक्ति है, जो विभव परिवर्तन करने के काम में आती है। यह उच्च विभव दुर्बल धारा को निम्न विभव की प्रबल धारा में (अपचायी ट्रांसफॉर्मर) अथवा निम्न विभव की प्रबल धारा को उच्च विभव की दुर्बल धारा में (उच्चायी ट्रांसफॉर्मर) बदल लेता है। ट्रांसफॉर्मर का प्रयोग मात्र A.C. धारा के साथ ही किया जा सकता है, D.C धारा के साथ नहीं। A.C. से D.C में परिवर्तित करने के लिए रेक्टिफायर का प्रयोग करते हैं।

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