केवल 1 सही है।
1 तथा 3 सही हैं।
केवल 2 सही हैं।
2 तथा 3 सही हैं।
चूंकि प्रकीर्णन तरंगदैर्घ्य के व्युत्क्रमानुपाती होता है और बैंगनी एवं नीले रंग का तरंगदैर्ध्य कम होता है, अतः उनका प्रकीर्णन अधिक होगा। इसी कारण आकाश नीला दिखाई पड़ता है। सूर्योदय एवं सूर्यास्त के समय किरणों को वायुमंडल में अधिक दूरी पार करनी पड़ती है। इसके कारण प्रकाश की छोटी तरंगों का प्रकीर्णन हो जाता है। केवल लाल रंग ही न्यूनतम प्रकीर्णन के कारण आगे बढ़ता है। इसी कारण सूर्यास्त एवं सूर्योदय के समय सूर्य का रंग लाल दिखाई पड़ता है। वर्षा के बाद बादलों में पानी की छोटी-छोटी बूंदें रह जाती हैं, जो प्रिज्म की भांति व्यवहार करती हैं, जिनसे प्रकाश विक्षेपित होकर रंगों की एक पट्टी बनाता है, जिसे इंद्रधनुष कहते हैं।
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