10 वर्ष
5 वर्ष
12 वर्ष
14 वर्ष
धारा 394→ लूट करने में स्वेच्छापूर्वक किसी को चोट पहुँचाना
अगर कोई व्यक्ति लूट का अपराध करता है और जिस व्यक्ति का नुकसान हो रहा है उसे सामान्य चोट पहुंचाता है, (अर्थात- कम गंभीर चोट) तब चोट पहुचाने वाला व्यक्ति ही धारा 394 के अंतर्गत दोषी होगा।
इस धारा के अपराध किसी भी प्रकार से समझौता योग्य नहीं है। यह अपराध संज्ञेय एवं अजमानतीय अपराध है। इनकी सुनवाई का अधिकार प्रथम श्रेणी के मजिस्ट्रेट को है।
सजा » इस धारा के अपराध में आरोपी को आजीवन कारावास या 10 वर्ष की कठोर कारावास तक साथ मे जुर्माने से भी दण्डित किया जा सकता है।
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