धारा 416
धारा 419
धारा 417
धारा 418
भारतीय दण्ड संहिता, 1860 की धारा 416 की परिभाषा →
अगर कोई व्यक्ति जानबूझकर कर बनाबटी रूप धारण करता है या प्रतिरूपण करता है। वह इस धारा के अंतर्गत दोषी होगा।
व्यक्ति के बनाबटी रूप के निम्न कृत्य हो सकते हैं →
1. स्वयं को किसी और का वास्तविक बेटा बताकर उसको धोखा देना।
2. किसी दूसरे व्यक्ति के स्थान पर जानबूझकर कर परीक्षा में बैठना।
3. स्वंय की वास्तविक जाति, समाज, धर्म छुपा कर शादी या अन्य आपराधिक कार्य करना।
4. किसी को कुँवारा बता कर दोबारा किसी अन्य से शादी करना।
5. बेरुपिया बनकर छल करना आदि।
नोट » हमारी भारतीय दण्ड संहिता में मिथ्या प्रतिरूपण के सम्बंध में कुल सात धाराएं हैं। जिनमें धारा 416 भी शामिल हैं।
धारा 416 – प्रतिरूपण द्वारा छल
धारा 417 – छल के लिए दण्ड
धारा 418 – इस ज्ञान के साथ छल करना कि उस व्यक्ति को सदोष हानि हो सकती है जिसका हित संरक्षित रखने के लिए अपराधी आबद्ध है
धारा 419 – प्रतिरूपण द्वारा छल के लिए दण्ड
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